डग में खुलेगा 15 करोड़ का सेंटर ऑफ एक्सीलेंस मालवी व गिर नस्ल के संरक्षण-संवर्धन से बदलेगी पशुपालकों की तस्वीर शुरू पब्लिक एप डग से संवाददाता मोहम्मद इस्लाम झालावाड़ :- झालावाड़ जिले के डग क्षेत्र के लिए एक बड़ी सौगात के रूप में मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने 22 दिसम्बर को दुधालिया की हरिगढ़ पहाड़ी पर आयोजित महिला सशक्तिकरण सम्मेलन के दौरान डग पशु अनुसंधान केंद्र में 15 करोड़ रुपये की लागत से सेंटर ऑफ एक्सीलेंस खोलने की घोषणा की। इस घोषणा से क्षेत्र में पशुपालन, रोजगार और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को नई दिशा मिलने की उम्मीद जगी है।प्रस्तावित सेंटर ऑफ एक्सीलेंस में मालवी एवं गिर नस्ल के गोवंश के संरक्षण एवं संवर्धन पर विशेष कार्य किया जाएगा। इसके साथ ही यहाँ कृत्रिम गर्भाधान, दुग्ध उत्पादन में वृद्धि तथा आधुनिक दुग्ध डेयरी की स्थापना की जाएगी, जिससे डग सहित आसपास के क्षेत्रों के पशुपालक और किसान सीधे तौर पर लाभान्वित होंगे।पशु अनुसंधान केंद्र के प्रभारी डॉ. पवन कुमार शर्मा ने बताया कि यह केंद्र वर्ष 2015 से राजकीय पशु चिकित्सा एवं पशु विज्ञान विश्वविद्यालय, जयपुर के अंतर्गत संचालित है। वर्तमान में केंद्र में 50 सीटें स्वीकृत हैं और अब तक 100 से अधिक छात्र यहाँ अध्ययन कर रहे हैं।उन्होंने बताया कि केंद्र में इस समय 650 मालवी गोवंश का संरक्षण एवं संवर्धन किया जा रहा है, जिनसे प्रतिदिन लगभग 125 लीटर दूध का उत्पादन हो रहा है। सेंटर ऑफ एक्सीलेंस की स्थापना से गोवंश की गुणवत्ता में सुधार के साथ-साथ दुग्ध उत्पादन में भी उल्लेखनीय बढ़ोतरी होगी।डॉ. पवन कुमार शर्मा ने कहा कि इससे पशुपालन आधारित रोजगार को बढ़ावा मिलेगा, साथ ही ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी।मुख्यमंत्री की यह घोषणा डग क्षेत्र के लिए मील का पत्थर साबित होगी और डग क्षेत्र के विकास के लिए एक नई दिशा तय करेगी ।
डग में खुलेगा 15 करोड़ का सेंटर ऑफ एक्सीलेंस मालवी व गिर नस्ल के संरक्षण-संवर्धन से बदलेगी पशुपालकों की तस्वीर शुरू पब्लिक एप डग से संवाददाता मोहम्मद इस्लाम झालावाड़ :- झालावाड़ जिले के डग क्षेत्र के लिए एक बड़ी सौगात के रूप में मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने 22 दिसम्बर को दुधालिया की हरिगढ़ पहाड़ी पर आयोजित महिला सशक्तिकरण सम्मेलन के दौरान डग पशु अनुसंधान केंद्र में 15 करोड़ रुपये की लागत से सेंटर ऑफ
एक्सीलेंस खोलने की घोषणा की। इस घोषणा से क्षेत्र में पशुपालन, रोजगार और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को नई दिशा मिलने की उम्मीद जगी है।प्रस्तावित सेंटर ऑफ एक्सीलेंस में मालवी एवं गिर नस्ल के गोवंश के संरक्षण एवं संवर्धन पर विशेष कार्य किया जाएगा। इसके साथ ही यहाँ कृत्रिम गर्भाधान, दुग्ध उत्पादन में वृद्धि तथा आधुनिक दुग्ध डेयरी की स्थापना की जाएगी, जिससे डग सहित आसपास के क्षेत्रों के पशुपालक और किसान सीधे तौर पर
लाभान्वित होंगे।पशु अनुसंधान केंद्र के प्रभारी डॉ. पवन कुमार शर्मा ने बताया कि यह केंद्र वर्ष 2015 से राजकीय पशु चिकित्सा एवं पशु विज्ञान विश्वविद्यालय, जयपुर के अंतर्गत संचालित है। वर्तमान में केंद्र में 50 सीटें स्वीकृत हैं और अब तक 100 से अधिक छात्र यहाँ अध्ययन कर रहे हैं।उन्होंने बताया कि केंद्र में इस समय 650 मालवी गोवंश का संरक्षण एवं संवर्धन किया जा रहा है, जिनसे प्रतिदिन लगभग 125 लीटर दूध
का उत्पादन हो रहा है। सेंटर ऑफ एक्सीलेंस की स्थापना से गोवंश की गुणवत्ता में सुधार के साथ-साथ दुग्ध उत्पादन में भी उल्लेखनीय बढ़ोतरी होगी।डॉ. पवन कुमार शर्मा ने कहा कि इससे पशुपालन आधारित रोजगार को बढ़ावा मिलेगा, साथ ही ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी।मुख्यमंत्री की यह घोषणा डग क्षेत्र के लिए मील का पत्थर साबित होगी और डग क्षेत्र के विकास के लिए एक नई दिशा तय करेगी ।
- जय बाबा री सारायपुर, झालावाड़, राजस्थान🙏1 hr ago
- डग में खुलेगा 15 करोड़ का सेंटर ऑफ एक्सीलेंस मालवी व गिर नस्ल के संरक्षण-संवर्धन से बदलेगी पशुपालकों की तस्वीर शुरू पब्लिक एप डग से संवाददाता मोहम्मद इस्लाम झालावाड़ :- झालावाड़ जिले के डग क्षेत्र के लिए एक बड़ी सौगात के रूप में मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने 22 दिसम्बर को दुधालिया की हरिगढ़ पहाड़ी पर आयोजित महिला सशक्तिकरण सम्मेलन के दौरान डग पशु अनुसंधान केंद्र में 15 करोड़ रुपये की लागत से सेंटर ऑफ एक्सीलेंस खोलने की घोषणा की। इस घोषणा से क्षेत्र में पशुपालन, रोजगार और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को नई दिशा मिलने की उम्मीद जगी है।प्रस्तावित सेंटर ऑफ एक्सीलेंस में मालवी एवं गिर नस्ल के गोवंश के संरक्षण एवं संवर्धन पर विशेष कार्य किया जाएगा। इसके साथ ही यहाँ कृत्रिम गर्भाधान, दुग्ध उत्पादन में वृद्धि तथा आधुनिक दुग्ध डेयरी की स्थापना की जाएगी, जिससे डग सहित आसपास के क्षेत्रों के पशुपालक और किसान सीधे तौर पर लाभान्वित होंगे।पशु अनुसंधान केंद्र के प्रभारी डॉ. पवन कुमार शर्मा ने बताया कि यह केंद्र वर्ष 2015 से राजकीय पशु चिकित्सा एवं पशु विज्ञान विश्वविद्यालय, जयपुर के अंतर्गत संचालित है। वर्तमान में केंद्र में 50 सीटें स्वीकृत हैं और अब तक 100 से अधिक छात्र यहाँ अध्ययन कर रहे हैं।उन्होंने बताया कि केंद्र में इस समय 650 मालवी गोवंश का संरक्षण एवं संवर्धन किया जा रहा है, जिनसे प्रतिदिन लगभग 125 लीटर दूध का उत्पादन हो रहा है। सेंटर ऑफ एक्सीलेंस की स्थापना से गोवंश की गुणवत्ता में सुधार के साथ-साथ दुग्ध उत्पादन में भी उल्लेखनीय बढ़ोतरी होगी।डॉ. पवन कुमार शर्मा ने कहा कि इससे पशुपालन आधारित रोजगार को बढ़ावा मिलेगा, साथ ही ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी।मुख्यमंत्री की यह घोषणा डग क्षेत्र के लिए मील का पत्थर साबित होगी और डग क्षेत्र के विकास के लिए एक नई दिशा तय करेगी ।4
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